7 सितंबर को रात 09 बजकर 58 मिनट पर चंद्र ग्रहण शुरू हुआ और रात 01 बजकर 26 मिनट पर समाप्त हुआ. चंद्र ग्रहण के बाद घर का शुद्धिकरण और दान-पुण्य आदि करना जरूरी होता है. जो लोग चंद्र ग्रहण के मोक्ष काल में ये काम नहीं कर पाए. उन्हें अगली सुबह इन्हें निपटा लेना चाहिए.
देशभर में लोगों ने 7-8 सितंबर की दरमियानी रात ब्लड मून का अद्भुत नजारा देखा. यह चंद्र ग्रहण कई मायनों में खास था. करीब 122 साल बाद पितृपक्ष के संयोग में चंद्र ग्रहण लगा था. यह एक पूर्ण चंद्र ग्रहण था. पूर्ण चंद्र ग्रहण की घटना बहुत दुर्लभ होती है. इससे पहले भारत में व्यापक रूप से दिखाई देने वाला पूर्ण चंद्र ग्रहण साल 2018 में हुआ था. अब पूर्ण चंद्र ग्रहण देखने का अगला मौका 31 दिसंबर 2028 को आएगा.
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